| 1. | इस लौकिक प्रत्यक्ष के दो प्रकार कहे गये हैं-सविकल्प और निर्विकल्प।
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| 2. | यह प्रत्यक्ष उसी दशा में होता है, जब सामान्य के किसी आश्रय के लौकिक प्रत्यक्ष की सामग्री सन्निहित रहती है।
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| 3. | यह प्रत्यक्ष उसी दशा में होता है, जब सामान्य के किसी आश्रय के लौकिक प्रत्यक्ष की सामग्री सन्निहित रहती है।
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| 4. | 1. लौकिक प्रत्यक्ष (Ordinary Perception): इस प्रत्यक्ष मे इंद्रिय और अर्थ इन के संन्निकर्ष से ज्ञान उत्पन्न होता है।
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| 5. | अत: मानना होगा कि मैं घटत्व विशिष्ट घटविषयक ज्ञानवान हूँ-इस मानस प्रत्यक्ष में ज्ञानांश लौकिक प्रत्यक्ष है और घटांश अलौकिक प्रत्यक्ष।
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